जानिए क्या है अस्तेय व्रत का अर्थ
अस्तेय व्रत का अर्थ है चोरी ना करना. यह जीवन का सबसे महत्वपूर्ण व्रत माना जाता है. इस व्रत की शुरुआत व्यक्ति कभी भी किसी भी समय कर सकता है. अस्तेय व्रत करने के लिए मनुष्य को अपनी इंद्रियों पर संयम रखते हुए भगवान विष्णु के समक्ष संकल्प लेना पड़ता है कि “परमात्मा मैं आज …